फतेहाबाद: भाजपा की टिकट पर चुनावी दंगल में कूदे भाजपा के मौजूदा विधायक दुड़ाराम इस चुनाव में अगर जीत हासिल करते हैं तो वो एक दोहरा इतिहास रच देंगे। पिछले 42 साल में फतेहाबाद सीट से किसी भी मौजूदा विधायक को लगातार दूसरी बार जीत हासिल नहीं हुई है। इतना ही नहीं, फतेहाबाद विधानसभा सीट से कोई तीन बार विधायक भी नहीं बना है। विधायक दुड़ाराम के पास इस बार ये दोनों रिकार्ड अपने नाम करने का मौका है।
1967 में पहली बार हुए थे चुनाव
फतेहाबाद विधानसभा सीट के इतिहास की बात की जाए तो हरियाणा गठन के बाद 1967 में पहले विधानसभा चुनावों में गोबिंद राय बतरा को जीत मिली थी, लेकिन अगले चुनाव में पोखर राम विधायक बने। इसके बाद 1972 के चुनाव में एक बार फिर पोखर राम को जीत मिली। इसके बाद से लेकर आज तक किसी विधायक को लगातार दूसरी बार फतेहाबाद सीट से जीत नहीं मिली। 1977 में हरफूल सिंह के बाद गोबिंद राय, बलबीर चौधरी, लीलाकृष्ण, हरमिंद्र सिंह, संपत सिंह, लीलाकृष्ण, स्वतंत्र बाला, दुड़ाराम, प्रहलाद सिंह गिल्लाखेड़ा, बलवान सिंह दौलतपुरिया विधायक रह चुके हैं।
दुड़ाराम के पास इतिहास बनाने का मौका
फतेहाबाद विधानसभा चुनावों में अब तक 12 नेता विधायक बन चुके हैं। लेकिन कुछ नेता ही ऐसे रहे हैं जिन्हें दो बार विधायक चुना गया है। इनमें पोखर राम, गोबिंद राय बतरा, लीलाकृष्ण के अलावा दुड़ाराम शामिल हैं। दुड़ाराम इस बार भी चुनावी समर में हैं। अगर वो इस बार का विधानसभा चुनाव जीत जाते हैं तो वो फतेहाबाद विधानसभा से तीन बार विधायक बनने वाले पहले नेता हो सकते हैं। इन चार नेताओं के अलावा सभी नेताओं ने एक-एक बार विधायक पद का चुनाव जीता है।