नारनौल: रेगुलर नौकरी एवं सातवें वेतन आयोग का लाभ देने जैसी प्रमुख मांगों को लेकर नेशनल हेल्थ मिशन के कर्मचारियों की हड़ताल 18वें दिन में प्रवेश कर गई। अब तक प्रदेश सरकार द्वारा इनकी एक भी मांग को लागू नहीं किया गया। इसके विरोध में एनएचएम कर्मचारियों ने अपने सिर मुंडवाए और लघु सचिवालय से बस स्टैंड तक रोष प्रदर्शन किया। एनएचएम कर्मचारियों द्वारा प्रातः 9 बजे से ही धरना स्थल पर मुण्डन करवाना शुरू कर दिया, जिसमें जिला अध्यक्ष डॉ. पुष्पेन्द्र, जिला संयोजक संदीप यादव, राज्य कार्यकारिणी सदस्य हरकेश, डॉ. चन्द्रशेखर, महेश यादव, धर्मेन्द्र वर्मा, देवदत्त, विरेन्द्र यादव, टीका बहादुर, ऋषिपाल गोठवाल, वेदप्रकाश, इन्द्रजीत, दिनेश शर्मा व दिनेश यादव इत्यादि शामिल रहे।
बस स्टैंड के बाहर दिया धरना
मुण्डन करवाने के बाद भारी बारिश में सैकड़ों की संख्या में एनएचएम महिलाएं एवं पुरुष उपायुक्त निवास के सामने से महावीर चौक होते हुए बस स्टैण्ड पहुंचे तथा बस स्टैण्ड के गेट के बाहर घेरा डालकर लगभग आधा घण्टा सरकार विरोधी नारेबाजी करते रहे। इस दौरान सड़क के दोनों तरफ वाहनों का लम्बा जाम लग गया। बस स्टैण्ड पर प्रदर्शन करने उपरान्त वापिस नारेबाजी करते हुए महावीर चौक पहुंचे और यहां चारों तरफ घेरा बनाकर नारेबाजी की।
सरकार पर लगाया आरोप
प्रदर्शन की अध्यक्षता कर रहे डॉ. पुष्पेन्द्र ने बताया कि एनएचएम कर्मचारियों की हड़ताल को 18 दिन हो चुके हैं, लेकिन सरकार अब भी सोई हुई है। अभी तक स्वास्थ्य मंत्री अथवा मुख्यमंत्री द्वारा एनएचएम कर्मचारियों से बातचीत करना भी आवश्यक नहीं समझा। हड़ताल के कारण आमजन को हो रही परेशानी के लिए केवल और केवल सरकार जिम्मेदार है। प्रदेश में लगभग 17,000 कर्मचारी आन्दोलन पर हैं। यदि सरकार द्वारा मांगों को जल्द ही पूर्ण नहीं किया गया तो आन्दोलन को और तेज करते हुए चलो गांव की ओर अभियान चलाएंगे। गांव-गांव जाकर नुक्कड़ सभाओं के माध्यम से सरकार द्वारा एनएचएम कर्मचारियों के साथ किए जा रहे सौतेले व्यवहार के बारे आमजन को बताएंगे।
उग्र हो रहा आंदोलन
राज्य कार्यकारिणी सदस्य हरकेश ने कहा कि जैसे-जैसे आन्दोलन के दिन बढ़ते जा रहे हैं, वैसे-वैसे आन्दोलन को उग्र रूप दिया जाएगा। जैसे आन्दोलन के 18वें दिन बस स्टैण्ड तथा महावीर चौक पर जनता को अपनी समस्या सुनाने आए है, उसी प्रकार प्रतिदिन जनता के भिन्न-भिन्न मंचों पर अपनी मांगों को उठाते रहेंगे, क्योंकि सरकार बिल्कुल अंधी व बहरी हो चुकी है। जब सरकार आंख मिचौली करती है तो उसका ईलाज जनता जनार्दन के पास ही होता है। इसलिए जनता जनार्दन के सम्मुख अपील भी करते हैं कि आप अपने जनप्रतिनिधियों के माध्यम से सरकार तक हमारी मांगों को पहुंचाएं कि प्रदेश की बेटियां सड़कों पर हैं और इनकी मांगों को जल्द से जल्द पूर्ण करे।