Haryana: हरियाणा सिविल मेडिकल एसोसिएशन के आह्वान पर प्रदेशभर से आए चिकत्सिकों द्वारा पंचकूला स्थित स्वास्थ्य महानिदेशक कार्यालय के बाहर मांगों को लेकर धरना दिया। इस दौरान डीजी हेल्थ से बातचीत हुई और लंबे समय से उनकी मांगों को लेकर कोरे आश्वासन दिए जाने पर कहा कि आने वाले समय में वह अनश्चितिकालीन आंदोलन करने के लिए मजबूर हो गए हैं। डीजी हेल्थ के आश्वासन से डॉक्टर संतुष्ट नजर नहीं आए और लगातार नारेबाजी करते रहे।
डीजी हेल्थ कार्यालय के बाहर दिया धरना
हरियाणा एचसीएमएस अध्यक्ष डॉक्टर राजेश ख्यालिया और महासचिव अनिल यादव ने बताया कि डॉक्टरों की मांगे पूरी नहीं होने के कारण उन्हें अनश्चितिकालीन धरने प्रदर्शन के लिए मजबूर होना पड़ेगा। इसके पहले विभाग के डीजी हेल्थ, एसीएस सभी से मिलकर अवगत कराया जा चुका है। धरने प्रदर्शन के कारण भारी संख्या में पुलिस बल की तैनाती सेक्टर 6 डीजी हेल्थ ऑफिस (स्वास्थ्य मुख्यालय) पंचकूला में की थी। प्रदर्शन के लिए सभी जिलों से जिला संगठन के पदाधिकारी पहुंचे। इस दौरान डॉक्टर संगठन और कोर कमेटी ने आगे की रणनीति को लेकर बैठक भी की और डीजी हेल्थ कार्यालय के बाहर धरना दिया।
15 जुलाई को करेंगे 2 घंटे कलम छोड़ हड़ताल
प्रधान महासचिव और उप प्रधान का कहना है कि अभी भी सुनवाई नहीं हुई, तो 15 जुलाई को डॉक्टरों ने प्रदेश के अंदर दो घंटे के लिए कलम छोड़ हड़ताल का फैसला लिया है। 25 जुलाई से अनिश्चितकाल के लिए इमरजेंसी सेवाएं बंद कर दी जाएंगी। एसोसिएशन पदाधिकारियों का कहना है कि इसके कारण जो समस्या आएगी, उसकी जिम्मेदार अफसर और सरकार होगी। एसोसिएशन प्रधान डॉक्टर राजेश ख्यालिया, महासचिव अनिल यादव, मीडिया कोऑर्डिनेटर डॉ. अमरजीत चौहान, उप प्रधान डॉ. वीरेंद्र ढांडा का कहना है कि प्रदेश के सभी जिलों में संपर्क साधा है। एक जुलाई को राष्ट्रीय डॉक्टर्स डे पर काले बिल्ले लगाकर काम कर चुके हैं। लेकिन सुनवाई नहीं होने के कारण आंदोलन की राह पकड़ ली है।
छह माह पहले स्वास्थ्य मंत्री के साथ बनी थी सहमति
डॉक्टरों ने कहा कि छह माह पहले इन मांगों को लेकर स्वास्थ्य मंत्री के साथ सहमति बन गई थी, लेकिन उन मांगों को लेकर कोई ठोस हल नहीं निकल सका। इस कारण अब सभी डाक्टरों में नाराजगी व्याप्त है। एसोसिएशन और कोर कमेटी में वादा खिलाफी करने के कारण नाराजगी बढ़ती जा रही है। उधर, डीजी हेल्थ पूनिया ने डॉक्टरों की मांगों को लेकर आश्वस्त किया कि वह उनकी मांगों को हल करने के लिए सरकार से बातचीत करेंगे। डॉक्टर की कमी को दूर करने के साथ-साथ बॉन्ड राशि कम करने और अन्य मांगों को लेकर भी जल्द ही हल निकालने का आश्वासन दिया।