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हरियाणा के पूर्व मंत्री अनिल विज ने केजरीवाल पर तंज कसते हुए कहा कि पहले विदुर नीति होती थी, फिर चाणक्य नीति आई और अब केजरी नीति आई है। केजरी नीति यह कहती है कि इनके नेता ऐसे काम करें कि यह जेल में चले जाएं और जेल में जाकर अंदर से सरकार चलाई जाए।

Ambala: केजरीवाल के बयान कि वह मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा नहीं दे रहे, इस पर पूर्व मंत्री अनिल विज ने तंज कसते हुए कहा कि पहले विदुर नीति होती थी, फिर चाणक्य नीति आई और अब केजरी नीति आई है। केजरी नीति यह कहती है कि इनके नेता ऐसे काम करें कि यह जेल में चले जाएं और जेल में जाकर अंदर से सरकार चलाई जाए। केजरीवाल ने जेल से सरकार चलाने की नई नीति को ईजाद किया और अच्छा है कि अब जेल में इनका कोरम पूरा हो गया। वो वहीं कैबिनेट मीटिंग किया करेंगे, वहां पर शांत चित एकाग्र होकर वह अपनी बैठकें करें। अनिल विज अंबाला छावनी के लघु सचिवालय में पत्रकारों से बातचीत कर रहे थे।

कुर्बानियों से मिली देश को आजादी

अनिल विज ने कहा कि आज शहीद-ए-आजम भगत सिंह, राजगुरू और सुखदेव का बलिदान दिवस है। भगत सिंह, राजगुरू और सुखदेव आज भी ऐसे नाम है जो हम सभी को प्रेरणा देते है। यह नाम बताते हैं कि आजादी हमें यूं ही नहीं, बल्कि बहुत कुर्बानी देकर मिली है और हमें इस देश को संभाल एवं संवार कर रखना चाहिए। इसे मजबूत बनाना चाहिए। आज के दिन जालिम अंग्रेज हुकुमत जो इतना डरती थी कि निर्धारित समय से भी पहले उन्होंने भगत सिंह, राजगुरू व सुखदेव को फांसी दे दी। इनकी शहादत से सारे हिंदुस्तान में इंकलाब, भारत माता की जय के नारों की सुनामी आ गई।

शहीदों ने हिंदुस्तानियों की रगो में दौड़ाया रक्त

अनिल विज ने कहा कि शहीद-ए-आजम भगत सिंह, राजगुरू और सुखदेव ने हिंदुस्तानियों में इतना जोश व उत्साह भर दिया कि घरों में युवाओं व समस्त हिंदुस्तानियों की रगों में रक्त दौड़ने लगा। इसी से डर कर 15 अगस्त, 1947 में अंग्रेज भारत छोड़कर चले गए। पूर्व मंत्री अनिल विज ने भगत सिंह की प्रतिमा पर पुष्प अर्पित करते हुए भगत सिंह, राजगुरू व सुखदेव को अपनी श्रद्धांजलि अर्पित की और इंकलाब जिंदाबाद के नारे लगाए।

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