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हरियाणा के फतेहाबाद में पंचायती भूमि पर बुस्टिंग स्टेशन न बनाकर गली में बनाने व हाई कोर्ट की अवमानना के मामले में हाई कोर्ट ने एक्सईएन पर 10 हजार जुर्माना लगाया। साथ ही एसएचओ को वारंट जारी कर अगली तारीख पर संबंधित अधिकारी को पेश करने के निर्देश दिए।

Fatehabad: जिले के गांव बैजलपुर में पंचायत द्वारा दी गई भूमि पर बुस्टिंग स्टेशन न बनाकर गली में बुस्टिंग स्टेशन का निर्माण करने के मामले व हाईकोर्ट की अवमानना के मामले में पंजाब एवं हरियाणा उच्च न्यायालय ने फतेहाबाद में जनस्वास्थ्य विभाग के एक्सईएन पर 10 हजार रुपए का जुर्माना लगाया। हाईकोर्ट ने वारंट जारी करते हुए एरिया एसएचओ को आदेश दिए कि वे अगली तारीख तक सम्बंधित अधिकारी को हाईकोर्ट में पेश करें। अगर ऐसा नहीं किया तो एसएचओ को कारण बताना होगा।

गांव बैजलपुर निवासी रामनिवास ने लगाई थी याचिका

बता दें कि गांव बैजलपुर निवासी रामनिवास ने इस बारे हाईकोर्ट में याचिका दायर की थी। इससे पूर्व ग्रामीणों द्वारा इस मामले को लेकर जनस्वास्थ्य एवं अभियांत्रिकी विभाग के मंत्री को पत्र लिखकर इस समस्या से अवगत करवाया था। मंत्री को लिखे पत्र में बैजलपुर के लोगों ने कहा था कि गांव में 24 फुट की गली है जिसमें रामनिवास सहित काफी लोग इस गली का प्रयोग करते हैं। वहां पर एक सार्वजनिक चौक भी बना हुआ है। गांव के लोग पिछले 35 सालों से इस गली व चौक का प्रयोग करते चले आ रहे हैं। अब इस जगह पर विभाग व ग्राम पंचायत द्वारा बुस्टिंग स्टेशन का निर्माण किया जा रहा है जो गलत जगह बनाया जा रहा है। ग्राम पंचायत ने 21 अक्टूबर 2020 को पास किए गए प्रस्ताव में रामदेव मंदिर के पास खाली पड़ी 18 मरले जगह बुस्टिंग स्टेशन के निर्माण के लिए दे रखी है और इसी जगह पर बुस्टिंग स्टेशन स्वीकृत हुआ है लेकिन गांव की राजनैतिक पार्टीबाजी के कारण सरपंच ने विभाग के अधिकारियों के साथ मिलीभगत करके बुस्टिंग स्टेशन की जगह को बदला और अब गली में इसका निर्माण किया जा रहा है।

रामदेव मंदिर के पास स्वीकृत जगह पर बुस्टिंग स्टेशन बनाने की मांग

ग्रामीणों ने मंत्री से बुस्टिंग स्टेशन को रामदेव मंदिर के पास खाली पड़ी स्वीकृत जगह पर बनाने की मांग की थी। इसको लेकर कोई कार्रवाई न होने पर गांव के ही रामनिवास ने हाईकोर्ट में याचिका दायर की। इस याचिका पर हाईकोर्ट ने विभाग के एक्सईएन को 6 सप्ताह के अंदर इस पर कार्रवाई करने और गलत तरीके से बनाई गई बूस्टिंग स्टेशन की बाउंड्री वॉल को ठीक करने के आदेश दिए थे, लेकिन एक्सईएन ने हाईकोर्ट के आदेशों की कोई परवाह नहीं की। जिस पर रामनिवास ने हाईकोर्ट में अवमानना की याचिका दायर की। इस पर हाईकोर्ट ने कड़ा संज्ञान लिया और अधिकारी पर 10 हजार जुर्माना करने के साथ-साथ एसएचओ को अगली तारीख तक अधिकारी को पेश करने को लेकर वारंट भी जारी किए।

पूर्व सरपंच व मौजूदा सरपंच मं आपसी रंजिश

जनस्वास्थ्य विभाग के कार्यकारी अभियंता सतीश देशवाल ने बताया कि गांव में पूर्व सरपंच और मौजूदा सरपंच में आपसी रंजिश है। पूर्व पंचायत ने रामदेव मंदिर के पास बुस्टिंग स्टेशन के लिए जगह स्वीकृत की थी लेकिन नए सरपंच ने इसे नहीं माना और गली में बुस्टिंग स्टेशन के लिए जगह दे दी। पंचायत ने जहां जगह दी, वहीं हम बुस्टिंग स्टेशन बना सकते हैं। किसी ग्रामीण ने कोर्ट में केस लगा दिया। 11 मार्च को इस मामले में हाईकोर्ट में सुनवाई थी लेकिन वह हाईकोर्ट नहीं पहुंच पाए, जिस कारण हाईकोर्ट ने एक्स पार्टी फैसला देते हुए उन पर 10 हजार जुर्माना लगाया है जो उन्होंने अदा कर दिया है। 7 मई की तारीख को पेश होकर हाईकोर्ट में अपना पक्ष रखेंगे।

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