Narnaund: कड़ाके की ठंड और भारी बारिश के बीच खेड़ीचोपटा में घर-घर कांग्रेस, हर घर कांग्रेस अभियान के तहत आयोजित कांग्रेस की जन-आक्रोश रैली में पहुंचे सांसद दीपेंद्र हुड्डा ने कहा कि हरियाणा बहादुर लोगों की धरती है। इतिहास गवाह है कि परिवर्तन की शुरुआत हमेशा हरियाणा से हुई है। दिल्ली किसकी है, इसका निर्णय भी यहीं से हुआ है। चाहे महाभारत हो या पानीपत की लड़ाई, हरियाणा ने हमेशा इतिहास रचा। झूठ बोलकर जनता से वोट लेने वालों के दिन अब लद गए हैं। आगामी चुनाव में जनता झूठे वादे करने वालों का सूद समेत हिसाब-किताब करेगी। ये लड़ाई हरियाणा के नौजवान, किसान, मजदूर, गरीब, वंचित वर्ग के भविष्य को बचाने की है। हरियाणा के चुनाव पर पूरे देश की नजर रहेगी।
जनता से विश्वासघात कर बनाई गई 2019 में सरकार
दीपेंद्र हुड्डा ने जेजेपी पर हमला करते हुए कहा कि 2019 में हरियाणा में जनता से विश्वासघात कर सरकार बनाई गई। लोगों ने बीजेपी-जेजेपी सरकार नहीं चुनी थी, बल्कि इसे नकारने का काम किया था। जनता ने तो बीजेपी सरकार और पार्टी दोनों को हरा दिया था। भाजपा के 14 में 12 मंत्रियों समेत पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष तक को हराकर वापस घर भेज दिया था। लेकिन जजपा ने अपने मतदाताओं को धोखा देकर 5100 रुपए बुढ़ापा पेंशन के नाम पर भाजपा को समर्थन दिया, जो आज तक नहीं हुई। असल में बीजेपी जेजेपी का समझौता 5100 रुपए बुढ़ापा पेंशन का नहीं बल्कि भ्रष्टाचार और लूट की खुली छूट का था। सरकार बनने के बाद प्रदेश में एक के बाद एक घोटाले किए गए। शराब घोटाला, माईनिंग घोटाला, रजिस्ट्री घोटाला समेत 30 से ज्यादा भर्ती घोटाले अंजाम दिए गए।
सरकारी नौकरियों के नाम पर पकड़ी गई करोड़ों की घूस
दीपेंद्र हुड्डा ने कहा कि एचपीएससी, एसएचएससी दफ्तरों में करोड़ों रुपए की घूस पकड़ी गई। हरियाणा की नौकरियां यहां के युवाओं को न मिलकर दूसरे प्रदेश के युवाओं को मिल रही है। जेजेपी ने सारी नैतिकता ताख पर रखकर अपने मतदाताओं, किसानों, महिला खिलाड़ियों समेत हर वर्ग के साथ विश्वासघात किया। इस चुनाव में अपने मतदाताओं के साथ विश्वासघात करने वाली जेजेपी की एक सीट पर भी जमानत नहीं बचेगी। उन्होंने कहा कि आज हरियाणा में लोग आशा भरी निगाहों से कांग्रेस की तरफ देख रहे हैं। सरकार ने हरियाणा को बेरोजगारी, भ्रष्टाचार, महंगाई व लोगों का अपमान करने में नंबर एक बना दिया। किसान, मनरेगा, मजदूर, खिलाड़ी, चौकीदार, कर्मचारी, सरपंच, महिलाओं, आशा वर्कर, बुजुर्ग व बच्चों को भी सड़क पर आना पड़ा।
सरकार ने युवाओं से छीना फौज में जाने का सपना
दीपेंद्र हुड्डा ने कहा कि हरियाणा की पहचान जय जवान, जय किसान की थी। लेकिन सरकार ने न जवान छोड़े, न किसान छोड़े। अग्निवीर योजना लाकर जवानों के फौज में जाने का सपना तोड़ दिया। पहले हर साल साढ़े 5 हजार की भर्ती होती थी, अब 900 की भर्ती हो रही, इसमें से भी 700 अग्निवीर 4 साल बाद वापस लौट जाएंगे। इसी तरह एक साल तक चले किसान आंदोलन में 750 किसानों को अपनी जान कुर्बान करनी पड़ी। किसानों को देशद्रोही, आतंकवादी और न जाने कैसे कैसे अपमानजनक ताने कसे गए।