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हरियाणा के फरीदाबाद में सूरजकुंड मेले के दौरान गांव धोरड़ो लोगों के लिए आकर्षण का केंद्र बना रहा। इसके साथ हरियाणा आपणा घर भी लोगों को खूब पसंद आ रहा है। संयुक्त राष्ट्र विश्व पर्यटन संगठन ने इसे ग्रामीण विकास, पर्यावरण के साथ संतुलित पर्यटन और सांस्कृतिक संरक्षण के लिए पहचान दी है। 

Faridabad: 37वें सूरजकुंड हस्त-शिल्प मेले में थीम स्टेट गुजरात के सर्वश्रेष्ठ पर्यटन गांव धोरड़ो की बनावट, सजावट व समृद्ध संस्कृति पर्यटकों को खूब भा रही है। इस महाकुंभ मेले में धोरड़ो गांव की विशेष रूप से चर्चा हो रही है। संयुक्त राष्ट्र के विश्व पर्यटन टूरिज्म संगठन ने इस गांव को सर्वश्रेष्ठ पर्यटन गांव घोषित किया है। गुजरात के धोरड़ो गांव में तीन महीने के रण उत्सव मेले का आयोजन होता है। रण उत्सव ही कारण है कि संयुक्त राष्ट्र विश्व पर्यटन संगठन (यू.एन.डब्ल्यू.टी.ओ.) ने इसे ग्रामीण विकास, पर्यावरण के साथ संतुलित पर्यटन और सांस्कृतिक संरक्षण के लिए पहचान दी है।

आपणा घर के साथ धोरड़ों गांव के मॉडल को सुंदर ढंग से सजाया 

सूरजकुंड मेले में हरियाणा के  आपणा घर के साथ बनाए गए धोरड़ो गांव के मॉडल को बहुत ही सुंदर ढंग से सजाया गया है। गुजरात के चटख रंगों से सुसज्जित धोरड़ो के इस मॉडल को लेकर पर्यटकों को इसके द्वार पर लिखे परिचय को उत्सुकता से पढ़ते हुए देखा जा सकता है। धोरड़ो गांव प्राकृतिक और सांस्कृतिक धरोहरों को प्रदर्शित करता है। सांस्कृतिक विरासत आगंतुकों को इसकी समृद्ध कला परंपरा की एक झलक देती है।

धोरड़ों की टेंट सिटी पारंपरिक भुंगा से बनी 

सूरजकुंड मेले में गांव की टेंट सिटी पारंपरिक भुंगा (मिट्टी की झोपड़ी) से बनी है। यह मिट्टी का घर जैसी आकृति और उस पर लगी लालटेन पर्यटकों को आकर्षित कर रही है। सर्वश्रेष्ठ पर्यटन गांव सम्मान उन गांवों को दिया जाता है जो ग्रामीण इलाकों के विकास और परिदृश्यों, सांस्कृतिक विविधता, स्थानीय मूल्यों और खान - पान परंपराओं के संरक्षण में अग्रणी हैं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुजरात के मुख्यमंत्री रहते हुए इस गांव को पर्यटन के तौर पर विकसित करने की शुरुआत की थी।

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