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हरियाणा के जींद में किसान आंदोलन का असर इंडस्ट्रीयल एरिया पर भी पड़ने लगा है। पंजाब की तरफ से न कच्चा माल आ रहा है और न ही तैयार माल की सप्लाई हाे रही। ऐसे में रोजाना लाखों का नुकसान हो रहा है।

Jind: किसानों के दिल्ली कूच आंदोलन की जद में इंडस्ट्रीयल एरिया भी आ गया है। इस समय जींद के इंडस्ट्रीयल एरिया में कच्चा माल दिल्ली, पंजाब व उत्तर प्रदेश की तरफ से आता है। दिल्ली और उत्तर प्रदेश की तरफ से कच्चा माल आने में अभी कोई परेशानी फैक्टरी संचालकों को नहीं आ रही है, लेकिन सबसे ज्यादा परेशानी पंजाब की तरफ से आने वाले कच्चे माल व तैयार माल भेजने में आ रही है। वहीं फैक्टरियों में माल तो बनाया जा रहा है लेकिन उसे सप्लाई करने में परेशानी आ रही है। जिसके चलते पिछले पांच- छह दिनों से फैक्टरियों में ही माल स्टॉक हो रहा है। जींद इंडस्ट्रीयल एरिया प्रधान की बात पर विश्वास किया जाए तो प्रतिदिन पांच से छह लाख रुपए का नुकसान हो रहा है।

औद्योगिक क्षेत्र पर किसान आंदोलन की मार

किसानों ने अंबाला में शंभू बॉर्डर तो जींद में दातासिंह वाला बॉर्डर पर डेरा जमाया हुआ है। जिससे पंजाब की तरफ जींद के इंडस्ट्रीयल एरिया को न तो कच्चे माल की सप्लाई हो पा रही है और न ही तैयार माल पंजाब की तरफ जा रहा है। इसके अलावा उद्योगपति को सबसे ज्यादा डर यह भी है कि अगर वो माल भेजते भी हैं और रास्ते में कोई अनहोनी घटना हो जाती है तो इससे लाखों रुपए का नुकसान उन्हें भुगतना पड़ेगा। फैक्टरी में प्रोडक्शन ज्यों की त्यों चल रही है लेकिन माल सप्लाई नहीं हो पा रहा है।

दिल्ली बॉर्डर बंद होने से जींद इंडस्ट्रीयल आ जाएगा बर्बादी की कागार पर

जींद के इंडस्ट्रीयल एरिया में फैक्टरी संचालकों का कहना है कि अभी तक माल को लेकर उन्हें ज्यादा परेशानी नहीं आ रही। क्योंकि अधिकतर रास्ते खुले हैं, जिनमें हाइवे भी शामिल हैं। अगर किसान दिल्ली पहुंच जाते और बॉर्डर को सील कर दिया जाता है तो माल की खपत व सप्लाई दोनों तरफ से रूक जाएगी। जिससे फैक्टरी संचालक पूरी तरह से बर्बाद हो जाएंगे और व्यापार भी ठप हो जाएगा। फैक्टरी में जो लेबर लगाई गई हैं वो काम कर रही है। माल को तैयार करने से भी रोका नहीं जा रहा। परेशानी माल की सप्लाई करने और कच्चा माल आने में हो रही है।

प्रतिदिन चार से पांच लाख रुपए का हो रहा नुकसान

एचएसआईआईडीसी इंडस्ट्रीयल एस्टेट जींद के प्रधान अभिषेक गोयल ने बताया कि सबसे ज्यादा परेशानी पंजाब की तरफ माल भेजने में आ रही है। वहीं फैक्टरी संचालकों को डर भी है कि अगर वो तैयार माल भेजते हैं और रास्ते में कोई अनहोनी हो जाती है तो उन्हें लाखों रुपए का नुकसान होगा। अब ज्यों-ज्यों किसान आंदोलन लंबा चल रहा है तो धीरे-धीरे इसका असर इंडस्ट्रीयल एरिया पर पड़ने लगा है। इस समय प्रतिदिन चार से पांच लाख रुपए का नुकसान जींद का इंडस्ट्रीयल एरिया उठा रहा है।

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