Fatehabad: टोहाना में बच्चों के मामूली विवाद में एक पक्ष के व्यक्ति द्वारा जहर खाकर आत्महत्या कर ली। जान देने से पहले उसने सुसाइड नोट भी लिखा, जिसमें कुछ लोगों पर आत्महत्या करने के लिए मजबूर करने के आरोप हैं। झगड़े के मामले में जांच कर रहे पुलिस जांच अधिकारी को भी उसने अपनी मौत का जिम्मेदार बताया। मृतक ने अपने सुसाइड नोट में अपने भाइयों को राम-राम कहा, पिता से माफी मांगी, वहीं एक भाई को अपने बच्चों का जिम्मा सौंपते हुए उनको अपने जैसा पढ़ा-लिखा बनाने को कहा। फिलहाल पुलिस ने इस मामले में मृतक के शव को कब्जे में लेकर जांच शुरू कर दी। पुलिस ने 8 लोगों व एएसआई भूपेंद्र सिंह के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया।
सुसाइड नोट में लगाए पुलिसकर्मी पर आरोप
मिली जानकारी के अनुसार टोहाना के वार्ड नंबर 5 निवासी सतविंद्र सिंह ने बुधवार रात जहर पीकर अपनी जान दे दी। पुलिस मौके पर पहुंची तो वहां एक सुसाइड नोट मिला। अस्पताल में पहुंचे मृतक सतविंद्र के पिता सिकंदर व अन्य परिजनों ने बताया कि कुछ दिन पहले गली में बच्चों का आपसी झगड़ा हो गया था। झगड़ा इतना बढ़ गया कि मोहल्ले में दबाव बनाने के लिए सतविंद्र को प्रताड़ित करना शुरू कर दिया गया। उससे मारपीट की गई और घर से जब भी वह निकलता तो उसे गालियां निकाली जाती। 10 मार्च को उनके घर पर दूसरे पक्ष के लोगों ने हमला कर तोड़फोड़ की। इसकी शिकायत और सीसीटीवी फुटेज भी पुलिस को दी थी लेकिन पुलिस ने इस मामले में उनकी शिकायत पर कोई कार्रवाई नहीं की, जबकि दूसरे पक्ष द्वारा दी गई शिकायत पर मामला दर्ज कर लिया। मामले की जांच कर रहे आईओ भूपेंद्र सिंह से चार-पांच बार मिले तो वह यही कहता कि भले ही 50 बार मिलो, जो उसने करना है, वही करेगा, जहां जाना है, चले जाओ। इससे परेशान होकर सतविंद्र ने आत्महत्या की है।
सुसाइड नोट में मृतक ने यह लिखा
सतविंद्र ने सुसाइड नोट में लिखा कि मैं सतविंद्र उर्फ अनूप अपना बयान देता हूं कि मेरी मौत के जिम्मेदार हैं अमित कुमार, डॉ. प्रकाश, दर्शन सिंह, नराता राम, संजीव कुमार व आईओ भूपेंद्र सिंह। जिसने मेरे ऊपर इन लोगों से पैसे लेकर झूठा केस दर्ज करवा दिया और ये लोग मुझे व मेरे परिवार को जान से मारने की धमकियां देते थे। इन लोगों ने मेरी दुकान व घर पर हमला किया, वीडियो मैंने थाने में भी दी और पुलिस ने कोई कार्रवाई नहीं की। अमित कुमार व डॉ. प्रकाश ने कुछ लोगों को इकट्ठा करके मेरे खिलाफ केस दर्ज करने के लिए थाने में झूठे नारे लगवाए, जिस कारण मेरी व मेरे परिवार की इज्जत को सारे शहर में बदनाम किया, जिसकी वजह से मैंने मरने की सोची। अशोक भाई, विनोद भाई को राम राम, कृष्ण भाई को बहुत सारा प्यार, चीनी भाई मेरे बच्चों का ख्याल रखना और इन्हें पढ़ा लिखा कर अपने जैसा बनाना, पापा की कमी बच्चों को महसूस ना हो, पापा सॉरी।