MP Politics News: अनुसूचित जाति कल्याण मंत्री नागर सिंह चौहान अपनी ही पार्टी से नाराज हो गए हैं। मंत्री चौहान ने खुद कहा है कि वे मंत्री पद से इस्तीफा दे सकते हैं। इस बात की खबरें सोशल मीडिया पर जोरों से हैं। बताया जा रहा है कि नागर सिंह, रामनिवास रावत को वन एवं पर्यावरण विभाग के मंत्री बनाए जाने से नाराज हैं। इस वजह से वह मंत्री पद से इस्तीफा दे सकते हैं।
मैं बहुत दुखी हूं
नागर सिंह चौहान ने मीडिया से बातचीत में कहा कि मैं एमपी भाजपा का बहुत छोटा सा कार्यकर्ता हूं। कांग्रेस के अभेद गढ़ कहे जाने वाले अलीराजपुर जिले में हम लगातार कांग्रेस से लगातार लड़ रहे हैं। लगातार चुनाव जीतने के बाद एमपी सरकार में अलीराजपुर जिले को पहली बार नेतृत्व करने यानी मंत्री बनने का मौका मिला। सात महीने बाद मेरे बिना पूछे, बिना चर्चा किए, मेरे विभाग को कांग्रेस से आए रामनिवासत रावत को मेरे दोनों विभाग दिए। इससे मैं बहुत दुखी हूं।
मेरे लिए महात्वपूर्ण नहीं
नागर सिंह ने कहा कि कांग्रेस से आए लोगों को पद से नवाजे जाने से एमपी भाजपा के कार्यकर्ता बहुत दुखी हैं। मुझे लगता है कि उनकी भावनाओं को देखते हुए मुझे पद पर नहीं रहना चाहिए। पद छोड़ना मेरे लिए कोई बड़ी बात नहीं, मंत्री पद आते-जाते रहते हैं। मैं बहुत नीचे से आया हूं। मैं भाजपा का बहुत मूल कार्यकर्ता हूं। मेरे लिए पद महात्वपूर्ण नहीं है। जहां मेरे सम्मान की बात आती है, आदिवासी समाज के सम्मान की बात आती है तो मेरे लिए पद महात्वपूर्ण नहीं।
सीएम ने किया था फेरबदल
बता दें मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कैबिनेट में रविवार को मामूली फेरबदल करते हुए रामनिवास रावत को वन एवं पर्यावरण मंत्री बनाया है। इस विभाग का प्रभार पहले नागर सिंह चौहान के पास था। मध्य प्रदेश में कांग्रेस छोड़कर भाजपा में आए और मंत्री बनाए गए रामनिवास रावत को वन एवं पर्यावरण विभाग दिए जाने से मंत्री नागर सिंह चौहान काफी नाराज हैं।
पत्नी भी छोड़ सकती हैं सांसदी
नागर सिंह चौहान की पत्नी अनीता सिंह चौहान रतलाम झाबुआ संसदीय क्षेत्र से भाजपा की सांसद हैं। एमपी के सियासी गालियारों में चर्चा है कि मंत्री नागर के साथ-साथ उनकी पत्नी अनीता नागर चौहान भी सांसद का पद छोड़ सकती हैं।