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Varanasi Rope-way Transport Project:: बाबा विश्वनाथ के धाम काशी में देश के पहले अर्बन रोप-वे ट्रांसपोर्ट प्रोजेक्ट का ट्रायल रन अगले माह है। कैंट से रथयात्रा के बीच इससे हर 15 मिनट में 750 यात्री पहुंचेंगे और बाबा विश्वनाथ दर्शन कर सकेंगे।  

Varanasi Rope-way Transport Project:: प्रधानमंत्री मोदी के संसदीय क्षेत्र वाराणसी में बन रहे देश के पहला अर्बन रोप-वे ट्रांसपोर्ट का 80 प्रतिशत काम पूरा हो चुका है। जुलाई में कैंट से रथयात्रा तक इस पर ट्रायल रन होगा। ट्रायल के बाद यात्रियों के लिए यह सुविधा सुलभ हो सकती है। 

बाबा विश्वनाथ के धाम काशी में अर्बन रोप-वे ट्रांसपोर्ट प्रोजेक्ट के प्रथम चरण में कैंट से रथ यात्रा के बीच कुल 18 टावर बनाए जा रहे हैं। इससे हर 15 मिनट में 750 यात्री कैंट से गोदौलिया पहुंचकर बाबा विश्वनाथ और मां गंगा के दर्शन कर सकेंगे।  

Varanasi Rope-Way Transport
Varanasi Rope-Way Transport

रोप-वे की लंबाई 3.75 किमी है। इसमें पांच स्‍टेशन व चढ़ने-उतरने के लिए चार स्‍टेशन बनाए जाने हैं। पहला स्टेशन कैंट रेलवे स्‍टेशन के पास होगा। यहीं से रोपवे शुरू हो रहा है। दूसरा विद्यापीठ, तीसरा रथयात्रा और चौथा स्‍टेशन गोदौलिया होगा। रोप-वे की केबल कार पर प्रति घंटे 3000 यात्री सफर करेंगे। 

रोप-वे की शुरुआत 10 सीटों वाली केबल कार से करने की तैयारी है। इसमें अभी 300 यात्री प्रति घंटे सफर कर सकेंगे। यात्री संख्‍या बढ़ने के साथ केबल कार भी बढ़ाई जाएंगी। शुरुआत में 10 केबल कार चलेंगी, लेकिन रोप-वे का डिजाइन ऐसा है कि जरूरत के अनुसार केबल कार कभी भी बढ़ाई जा सकें।

हर डेढ़ मिनट में गुजरेगी केबल कार
वाराणसी रोपवे प्रोजेक्ट की आधारशिला 24 मार्च 2023 को पीएम नरेंद्र मोदी ने रखी थी। तीन साल में यह पूर्णत: बनकर तैयार हो जाएगा। रोप-वे में 148 केबल कारें हैं। हर केबल कार पर 10 लोग बैठ सकेंगे। हर डेढ़ मिनट में एक केबल कार इससे गुजरेगी। जो जमीन से 11 मीटर ऊपर होगी। रोप-वे का गोंडोला 150 फीट ऊपर से गुजरेगा। कैंट से गोदौलिया तक 148 गोंडोला चलेंगे।  

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