Burning asteroid in Berlin sky: हमारा ब्रह्मांड एक से एक रहस्यों से भरा हुआ है। वैज्ञानिक हमेशा इससे जुड़ी नई जानकारियों के लिए शोध करते रहते हैं। इसमें कई खगोलीय नजारे बेहद दुर्लभ होते हैं। करीब दो दिन पहले ऐसा ही नजारा जर्मनी में देखने को मिला। बर्लिन शहर के ऊपर आसमान में एक जलता एस्टेरॉयड नजर आया। यह एक आग के गोले की तरह नजर आया। दुनिया के इतिहास में महज आठवीं बार यह घटना हुई है। ऐसा तब होता है जब कोई जलता हुआ उल्कापिंड धरती के वायुमंडल के बेहद करीब होता है।
नासा ने की उल्कापिंड नजर आने की पुष्टि
अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा ने जर्मनी के बर्लिन शहर में इस जलते उल्कापिंड को देखे जाने की पुष्टि की है। हंगरी के एस्ट्रोनॉमर क्रिस्टियन सार्नेस्की ने धरती के वायुमंडल में घुसने से तीन घंटे पहले ही इस उल्कापिंड को ट्रैक कर लिया था। इंटरनेशनल एस्ट्रॉनॉमिकल यूनियन के मुताबिक इस एस्टेरॉयड को 2024 BXI नाम दिया गया है। यह उल्कापिंड धरती पहुंचने से पहले आग के गोले में तब्दील हो गया। यही वजह रही कि इसे मीलों दूर से देखा जा सकेगा।
#BREAKING: Moments ago, a small asteroid impacted Earth over Germany. Video from live cam in Leipzig.
— Moshe Schwartz (@YWNReporter) January 21, 2024
H/t @meteordoc pic.twitter.com/F1TLijsv9P
एक मीटर चौड़ा था यह एस्टेरॉयड
उत्तर जर्मनी के लिपजिग शहर के एक सीसीटीवी कैमरें में भी यह नजारा कैद हुआ है। इसमें देखा जा सकता है कि एक चमकते हुए आग के गोले की शक्ल में नजर आ रहा यह उल्कापिंड धरती की ओर आ रहा है। कुछ ही सेकंड के बाद इसमें विस्फोट होता है और यह नजर आना बंद हो जाता है। सीबीएस न्यूज के मुताबिक, इस एस्टेरॉयड के कुछ टुकरे धरती पर गिरे हैं। वैज्ञानिक इस उल्कापिंड के टुकड़े ढूंढ़ने में जुट गए हैं। वैज्ञानिकों का दावा है कि बर्लिन शहर के ऊपर जो उल्कापिंड नजर आया वह आकार में छोटा था। यह 3.3 फीट यानी कि एक मीटर चौड़ा था।
Heads Up: A tiny asteroid will disintegrate as a harmless fireball west of Berlin near Nennhausen shortly at 1:32am CET. Overseers will see it if it’s clear!
— NASA Asteroid Watch (@AsteroidWatch) January 21, 2024
क्या होते हैं एस्टेरॉयड?
एस्टेरॉयड करीब 4.6 अरब वर्ष पहले सौर मंडल बनने के दौरान बचे चट्टानी अवशेष होते हैं। यह खनिज, धातुओं और अन्य तत्वों से बने होते हैं। इन्हें माइनर प्लेनेट या प्लेनेटसिमल्स भी कहा जाता है। अधिकांश एस्टेरॉयड अंतरिक्ष के एक खास हिस्से में पाए जाते हैं जिन्हें एस्टेरॉयड बेल्ट कहा जाता है। एस्टेरॉयड बेल्ट मार्स और जुपिटर की ऑर्बिट के बीच एक क्षेत्र है। कुछ एस्टेरॉड की खुद की ऑर्बिट भी हो सकती हैं जो उन्हें पृथ्वी के करीब लाती हैं।