US 9/11 Attack:अमेरिका ने 9/11 हमले के मास्टरमाइंड खालिद शेख मोहम्मद के साथ किया गया समझौता रद्द कर दिया है। इस समझौते के तहत, खालिद और उनके दो साथियों को मौत की सजा से बचाने की बात थी। उनके बदले में साजिश के आरोप में उन्हें उम्रकैद की सजा देने का प्रस्ताव था। यह समझौता खालिद शेख मोहम्मद और उनके साथियों के लंबे समय से चल रहे मामले को सुलझाने की दिशा में एक बड़ा कदम माना जा रहा था।
समझौते का 9/11 हमले के पीड़ितों ने किया था विरोध
जब यह समझौता हुआ, तो अमेरिका में इसकी खूब चर्चा हुई। कई लोगों ने इसका समर्थन किया, लेकिन 9/11 हमले में मारे गए लोगों के परिवारों ने इस पर नाराजगी जताई। उन्होंने कहा कि मास्टरमाइंड को मौत की सजा मिलनी चाहिए, ताकि इस हमले में मारे गए लोगों के साथ न्याय हो सके। इसके बाद, अमेरिकी रक्षा सचिव लॉयड ऑस्टिन ने खुद इस मामले की जिम्मेदारी ली और समझौते को रद्द कर दिया। उन्होंने इसे बेहद संवेदनशील मामला मानते हुए कहा कि इस पर अंतिम फैसला लेने का अधिकार मेरे पास होना चाहिए।
ग्वांतानामो बे के मिलिट्री जेल में बंद हैं आरोपी
समझौता रद्द होने के बाद, अब खालिद शेख मोहम्मद और उनके साथियों के मामले फिर से कानूनी प्रक्रिया में उलझ गए हैं। खालिद शेख मोहम्मद और उनके साथी अभी भी ग्वांतानामो बे के मिलिट्री जेल में बंद हैं। उनके खिलाफ मामले कई सालों से अटके हुए हैं। इस समझौते के रद्द होने के बाद, अब इन मामलों में फिर से देरी हो सकती है। अमेरिकी अधिकारियों ने कहा है कि समझौता रद्द होने से मामले की गंभीरता बढ़ गई है।
अमेरिकी इतिहास का काला दिन है 9/11
9/11 का हमला 11 सितंबर 2001 को हुआ था। अल कायदा के आतंकवादियों ने चार विमानों को हाईजैक कर लिया। आतंकियों इन विमानों को अमेरिका के वर्ल्ड ट्रेड सेंटर और पेंटागन में टकरा दिया। इस हमले में करीब 3,000 लोग मारे गए थे। यह हमला अमेरिकी इतिहास का सबसे बड़ा आतंकी हमला माना जाता है। इसके बाद अमेरिका ने आतंकवाद के खिलाफ युद्ध छेड़ दिया। अमेरिका ने अल कायदा के कई बड़े आतंकियों को पकड़ने का अभियान छेड़ दिया। इस दाैरान ही खालिद शेख मोहम्मद भी पकड़े गए।
खालिद शेख मोहम्मद ने कबूली हमले की बात
खालिद शेख मोहम्मद और उसके साथी 9/11 के हमलों के बाद ग्वांतानामो बे की मिलिट्री जेल में बंद हैं। इस जेल का एडमिनिस्ट्रेशन अमेरिकी खुफिया एजेंसी CIA के हाथ में है। ऐसा कहा जाता है कि ग्वांतानामो बे जेल में बंदियों को कठोर यातनाएं दी जाती हैं। ऐसा कहा जा रहा है कि खालिद शेख मोहम्मद ने 9/11 हमलों की साजिश रचने की बात कबूल की थी। लेकिन उसके खिलाफ मुकदमा चलाने में कई कानूनी अड़चनें आईं। इस कारण, उसे अब तक सजा नहीं दी जा सकी है।
क्या रही मुकदमे में देरी की वजह?
खालिद शेख मोहम्मद और उनके साथियों के खिलाफ मुकदमे में देरी की कई वजहें हैं। इनमें से वजह उनका ग्वांतानामो बे में बंद रहना भी है। 9/11 हमले के आरोपियों के वकीलों का दावा है कि इन यातनाओं के बाद उन्हें मुवक्किल को निष्पक्ष मुकदमे का अधिकार नहीं मिल सकता। इसके चलते मामला लगातार उलझता गया और सुनवाई पूरी होने में देरी होती रही। समझौते के रद्द होने से यह मामला और भी उलझ गया है।
अमेरिकी प्रशासन में मतभेद
इस समझौते को लेकर अमेरिकी प्रशासन में भी मतभेद सामने आए हैं। कुछ अधिकारियों ने इसे मामले को सुलझाने की दिशा में एक सकारात्मक कदम माना, जबकि कुछ लोगों ने कहा कि समझौते को मंजूद नहीं किया जा सकता। समझौते के रद्द किए जाने से अमेरिकी सरकार पर भी सवाल उठे हैं। लोगों का कहना है कि सरकार इतने बड़े आतंकी हमले के लिए जिम्मेदार आरोपियो के खिलाफ सही ढंग से अपना पक्ष नहीं रख सकी।